rpmwu170
16.12.2018
देश का किसान रील वाले कोडक कैमरा पर चिपका हुआ है, उसे iphoto पर जाने की जरूरत है।
हम सभी जानते हैं कि पहले रील वाला कोडक कैमरा बहुत अधिक पॉपुलर होता था। उसका बिजनेस करने वाला व्यक्ति आर्थिक रूप से समृद्ध रहता था। परंतु समय के साथ साथ तकनीकी में बदलाव आया और आज iphoto के सामने रील वाले कैमरे लगभग लुप्त हो गए हैं। अब यदि कोई दुकानदार रील वाले कैमरे को बेचने की कोशिश करें तो ऐसे दुकानदारों का क्या होगा? ऐसे दुकानदारों की आर्थिक दशा वास्तव में खराब होती चली जाएगी। ऐसा ही हाल किसान का हो रहा है, किसान साधारण खेती में गेहूं, चना, बाजरा, व सरसों इत्यादि की फसल से ऊपर नहीं उठ पा रहा है जबकि इन फसल को करने में बहुत अधिक लागत आती है और बाजार में उचित दर पर नहीं मिल पाती है।
श्री पिंटू पहाड़ी जैसे तकनीकी रूप से योग्य कृषी वैज्ञानिक व समाज सेवी आए दिन लोगों को कैश क्रोप, सब्जियां व फल के बागान इत्यादि लगाने के लिए प्रेरित करते हैं। आवश्यकता है किसान को साधारण खेती से अलग हटकर नई तकनीकी की खेती बाड़ी या बागान इत्यादि शुरू किये जाए ताकि उनकी आर्थिक दशा मजबूत हो सके। जो लोग गांव में रहते हैं और कृषि करते हैं उन्हें चाहिए कि वे अपने अपने गांव में नई तकनीक से खेती करने के उदाहरण प्रस्तुत करें ताकि और लोग उन्हें देखकर iphoto की तर्ज पर कम लागत में उन्नत खेती की शुरुआत कर सके व अपनी आर्थिक स्थिति को सुधार कर सके।
reel वाला kodak camera - - - - - > iphoto
साधारण खेती छोड़कर - - - - - > नई तकनीक से कैश क्रोप व बागान।
सोच बदल कर नई सोच को क्रियान्वित करें।
रघुवीर प्रसाद मीना
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