rpmwu198
28.02.2019
जो लोग ज्यादा खाते है या व्यर्थ करते है, वे है anti sustainable development के एजेंट।
जो लोग जरूरत से ज्यादा खाना थाली में लेते है और बाद में फेंक देते हैं तथा जो आवश्यकता से अधिक खाते है, ऐसे सभी लोग sustainable development के विरूद्ध काम करते है।
जरूरत से अधिक खाकर या थाली में अधिक लेकर फेंकने से खाने की कमी करते हैं और जरूरतमंदों को खाना या तो नहीं मिल पाता है या महंगा मिलता है।
साथ ही ज्यादा खाने से हैल्थ खराब होती है और ऐसे लोग दवाईयों व अस्पतालों की कमी व उन्हें मंहगा भी करते है। और हैल्थ खराब होने से इफिसियेंटली काम भी नहीं कर पाते हैं व ईलाज करवाने में दूसरों को भी इनगेज करके रखते है।
अतः सार यह है कि -
1) कम खाना खायें।
2) उतना ही लो थाली में जो व्यर्थ ना जाये नाली में।
1) कम खाना खायें।
2) उतना ही लो थाली में जो व्यर्थ ना जाये नाली में।
रघुवीर प्रसाद मीना
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